उत्तमसिंह-चौहान-सचिव-विकास-प्राधिकरण.उत्तमसिंह-चौहान-सचिव-विकास-प्राधिकरण.

वो,विकास प्राधिकरण का नकली अधिकारी बन निर्माण की जांच करने पहुंचा,हुई पिटाई ,प्राधिकरण ने कराया मुकदमा दर्ज

लोगों ने की पिटाई,बनाया वीडियो, किया वायरल

विकास प्राधिकरण के नाम पर जांच के लिए आने वालों का पहले पहचान पत्र देखिए -सचिव हविप्रा

रिद्वार विकास प्राधिकरण के नाम पर कइयों की रोजी रोटी कुछ इसी तरह से चल रही है एक्सटारशन, धमकी बाजी, और ब्लैक मेलिंग कर कोई वसूली करता है,तो कोई नेता गिरी चमकाता आये दिन नजर आ ही जाता है।

ऐसा ही एक मामला कल उस समय उजागर हो गया जब एक भवन निर्माण कर्ता को विकास प्राधिकरण का कर्मचारी बता कर वसूली करने एक व्यक्ति पहुंचा।
आज के डिजिटल जमाने में नेता जी को भवन निर्माण कर्ता को धमकाना भारी पड़ गया।

भवन निर्माण कर्ता ने तुरंत अपने मोबाइल से धमकाने पहुंचे फर्जी विकास प्राधिकरण कर्मचारी का विडियो बना कर वायरल कर दिया।

वायरल विडियो विकास प्राधिकरण अधिकारियों के मोबाइल तक भी पहुंच गया,दिन रात विकास प्राधिकरण के चक्कर लगाने वाले नेता जी के खिलाफ विकास प्राधिकरण के सचिव उत्तम सिंह चौहान को सूचना विभाग के माध्यम से अपना बयान जारी करना पड़ा, हालांकि वसूली करने गए नकली प्राधिकरण अधिकारी की लोगों ने पिटाई भी की और उसक सफेद कपड़े मैले भी हो गए, वेसे ये कोई”नवीन” बात नहीं है,ये अक्सर होता रहता है |

नवीन
नवीन

विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष उटं सिंह चौहान द्वारा नकली प्राधिकरण अधिकारी बन पहुंचे नवीन कुमार के खिलाफ एफ़आईआर भी दर्ज करवा डी है, बयान में क्या कहा गया ये आप खुद ही देख सकते हैं। और देख सकते हैं नेता जी का वायरल विडियो।

प्रेस विज्ञप्ति
दिनांक 23 सितंबर, 2023
हरिद्वार : श्री उत्तम सिंह चौहान सचिव हरिद्वार – रूडकी विकास प्राधिकरण ने अवगत कराया है कि इधर संज्ञान में आया है कि हरिद्वार विकास क्षेत्र में आम जन मानस द्वारा किये जा रहे अपने निर्माण कार्यों पर अन्य व्यक्तियों द्वारा प्राधिकरण के कर्मचारी होने का हवाला देते हुए निर्माण एवं विकास कार्य की जांच किये जाने हेतु कहा जाता है।

इस सम्बन्ध में सर्व साधारण को सूचित किया जाता है कि यदि कोई व्यक्ति प्राधिकरण का हवाला देते हुए उनके द्वारा किये जा रहे निर्माण कार्य क्षेत्र में प्रवेश करने के लिए आग्रह करता है तो उस व्यक्ति का पहचान पत्र देखने के उपरान्त यह सुनिश्चित होने पर कि वह प्राधिकरण का अधिकारी / कर्मचारी है, उसे प्रवेश करने की अनुमति दी जाए। प्राध

 

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