स्वतंत्रता सेनानी उत्तराधिकारी राष्ट्रीय सम्मेलन गोवाहाटी में सम्पन्न।
अमर शहीद कुशल कोंवर के बलिदान दिवस पर आयोजित किया गया राष्ट्रीय सम्मलेन।
दिल्ली में स्वतंत्रता सेनानी सदन बनाने का प्रस्ताव सरकार को भेजा जाएगा।
गुवाहाटी (असम) में अमर शहीद कुशल कोंवर के बलिदान दिवस के अवसर पर आयोजित स्वतंत्रता सेनानी परिवार राष्ट्रीय सम्मेलन ऐतिहासिक छाप छोड़ते हुए सम्पन्न हुआ।
सम्मेलन का शुभारंभ असम सरकार के कैबिनेट मंत्री चन्द्र मोहन पटवारी ने अमर शहीद कुशल कोंवर की प्रतिमा पर माल्यार्पण करके किया।
सम्मेलन में सर्वधर्म प्रार्थना के साथ देश के विभिन्न भागों से आए हुए स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों तथा वीरांगनाओं को सम्मानित किया गया, इस अवसर पर आयोजित प्रार्थना सभा में नगर निगम गुवाहाटी के महापौर तथा वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी भी उपस्थित रहे।
स्वतंत्रता सेनानी उत्तराधिकारी परिवार समिति के महासचिव जितेन्द्र रघुवंशी, आल इंडिया फ्रीडम फाइटर समिति के महासचिव नित्यानंद शर्मा तथा आल इंडिया फ्रीडम फाइटर समिति असम इकाई के महासचिव द्विजेन्द्र मोहन शर्मा ने केबिनेट मंत्री का स्वागत किया।
दोपहर बाद स्वतंत्रता सेनानी भवन के सभागार में कार्यक्रम का आरंभ असम की लोकप्रिय नृत्यांगनाओं श्रीमती मरमी मेधी तथा मेधाश्रंजनी मेधी के नृत्य के साथ हुआ, तत्पश्चात इस कार्यक्रम में शामिल विभिन्न प्रान्तों से आए हुए पदाधिकारियों का सम्मान आल इंडिया फ्रीडम फाइटर समिति की असम इकाई के पदाधिकारियों द्वारा अंगवस्त्र, स्मृति चिह्न तथा असम संस्कृति को दर्शाने वाली बांस से निर्मित टोपी पहनाकर किया गया।
इस अवसर पर देवप्रसाद मिश्रा, गृह सचिव, असम सरकार द्वारा स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों लेफ्टिनेंट आर माधवन, पांडुरंग गणपत शिंदे, आनंद सिंह बिष्ट, स्वामी लेखराज, रामविचार पांडे, नंदकिशोर माझी, भगवान पुरी, करबरी, जितेन्द्र नाथ शर्मा तथा वीरांगनाएं श्रीमती प्रेम देवी, श्रीमती गीता देवी, श्रीमती सरस्वती देवी, श्रीमती मंजू टंडन, श्रीमती गुरसिद्धम्मा का सम्मान अंग वस्त्र, स्मृति चिह्न तथा बांस निर्मित टोपी पहनाकर किया गया।
कैबिनेट मंत्री चन्द्र मोहन पटवारी ने अमर शहीद कुशल कोंवर के चित्र पर पुष्पांजलि समर्पित करने तथा दीप प्रज्ज्वलन के बाद वन्दे मातरम राष्ट्रगीत के गायन के साथ ही स्वतंत्रता सेनानी सदन के सभागार में कार्यक्रम की औपचारिक शुरुआत की।
आल इंडिया फ्रीडम फाइटर समिति की असम इकाई के महासचिव द्विजेन्द्र मोहन शर्मा, भोलानाथ नागरिया, कमल लहकर तथा वरिष्ठ पदाधिकारियों द्वारा मंचासीन अतिथियों का स्वागत एवं सम्मान किया गया।
कार्यक्रम की संचालिका श्रीमती नबनीता कलिता ने कार्यक्रम की रूपरेखा प्रस्तुत की। द्विजेन्द्र मोहन शर्मा ने असम राज्य के स्वतंत्रता सेनानी परिवारों के हितों की रक्षा के लिए महत्वपूर्ण सुझाव रखे, स्वतंत्रता सेनानी उत्तराधिकारी परिवार समिति के महासचिव जितेन्द्र रघुवंशी ने स्वतन्त्रता संग्राम सेनानियों के सम्मान तथा उनके उत्तराधिकारियों के अस्तित्व की रक्षा के लिए केन्द्र तथा राज्य सरकारों के दायित्वों का भान कराते हुए कहा कि हम असम सरकार तथा यहां के सेनानी परिवारों के संगठन के आभारी हैं जिन्होंने विभिन्न प्रान्तों के 38 संगठनों के पदाधिकारियों को सम्मानित किया।
उन्होंने असम के प्रत्येक जिले में स्वतंत्रता सेनानी सदन बनाने तथा गुवाहाटी में विशाल स्वतंत्रता सेनानी सदन बनाकर संगठन को सौंपने पर धन्यवाद ज्ञापित करते हुए देश के विभिन्न राज्यों से दिल्ली पहुंचने वाले सेनानी परिवारों के लिए इससे भी विशाल स्वतंत्रता सेनानी सदन दिल्ली में बनाने के लिए असम सरकार से सहयोग करने के लिए कहा। आल इंडिया फ्रीडम फाइटर समिति के महासचिव नित्यानंद शर्मा ने अपने सम्बोधन में कहा कि हमें भिखारी नहीं बनना है, बल्कि अपनी पहचान बनाकर अपना अधिकार प्राप्त करना है।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में पधारे कैबिनेट मंत्री चन्द्र मोहन पटवारी ने सभागार में उपस्थित सेनानी परिवारों को सम्बोधित करते हुए बताया कि इस आयोजन में मुख्यमंत्री हिमन्त बिश्व शर्मा को सम्मिलित होना था, किन्तु अतिआवश्यक कार्यवश उन्हें दिल्ली जाना पड़ा, जिसके कारण उनके प्रतिनिधि के रूप में यहां आकर अपने आपको सौभाग्यशाली अनुभव कर रहा हूं।
उन्होंने कहा कि असम राज्य के सेनानी परिवारों के हितों की रक्षा के लिए जो सुझाव हमें दिए गए हैं उन्हें हम अक्षरश: पूरा करेंगे तथा केन्द्र सरकार से भी अपनी संस्तुति के साथ प्रार्थना करेंगे कि स्वतंत्रता सेनानी परिवारों का संरक्षण करके अमृत महोत्सव वर्ष में स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि समर्पित की जाए। सायंकाल द्विजेंद्र मोहन शर्मा द्वारा निर्देशित अमर शहीद कुशल कोंवर के जीवन से आधारित लघु फिल्म कला केन्द्र में प्रदर्शित की गई।
इस आयोजन में विभिन्न राज्यों के प्रतिनिधि सर्व कपूर सिंह दलाल हरियाणा, रमेश कुमार मिश्रा उत्तरप्रदेश, अजय कुमार सीतलानी मध्यप्रदेश, मुरली मनोहर खंडेलवाल छत्तीसगढ़, कमलेश कुमार पांडे उत्तराखंड, विशाल सिंह सोदा राजस्थान, गुरिंदर पाल सिंह पंजाब, दिवाकांत झा झारखंड, अजय कुमार सिंह बिहार, रविंद्र गुप्ता तेलंगाना, अप्पा राव नवले कर्नाटका, रामचंद्र पिल्दे महाराष्ट्र, सलीमुद्दीन फारूखी दिल्ली, श्रीमती प्रेम देवी हिमाचल, श्रीमती दीपा दास पश्चिम बंगाल अपने अपने सहयोगी पदाधिकारियों के साथ सम्मिलित हुए।